सांसद असदुद्दीन ओवैसी के बिगड़े बोल, कहा- मैं वोट नहीं काटता, तुम्हें काट दूंगा
अपने विवादित बयानों से हमेशा चर्चे में रहने वाले आल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लमीन के मुखिया और हैदराबाद के सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने एक बार फिर विपक्षियों पर निशाना साधते हुए कड़वे बोल बोले हैं. मुंबई के ठाणे में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए ओवैसी ने कहा कि, कांग्रेस ने हमारी नस्लों को बर्बाद कर दिया है. ओवैसी ने कहा कि हमारे ऊपर मुस्लिम राजनीति करने का आरोप लगाया जाता है. लेकिन जब राहुल गांधी कहते हैं कि कांग्रेस हिंदुओं की पार्टी है तब कोई कुछ क्यों नहीं कहता.
इस कार्यक्रम में ओवैसी जमकर विरोधियों पर बरसे. ओवैसी ने गुस्से वाले अंदाज में कहा, ‘मुझपर आरोप लगते हैं कि मैं भड़काऊ भाषण देता हूं. मैं वोट काटता हूं. मैं बता दूं कि मैं वोट नहीं काटता, मैं तुमको काट दूंगा.’ रैली में जोश से लबरेज नजर आए ओवैसी ने कहा कि यदि आप सोच रहे हैं कि मोदी, फडणवीस, कांग्रेस तुम्हारा भला करेंगी तो संभल जाओ क्योंकि ऐसा कुछ होने वाला नहीं है.
एससी, एसटी और मुसलमानों को लेकर ओवैसी ने कहा, एससी, एसटी और मुसलमानों को जबरन बिना दोष के जेल में बंद किया जा रहा है. ओवैसी ने कहा, भीमा कोरेगांव में महार ने मराठाओं को हराया था और अब तुम लोगों की बारी है और तुम्हें इन्हें हराना है. साथ ही ओवैसी ने कहा, ये लोग केवल सत्ता की मलाई खाने के लिए आए हैं. 280 सीटें जीतने के बाद भी भाजपा रोहित वेमुला की मौत को नहीं रोक पाई को तुम लोग उससे क्या उम्मीद करते हो.
इस कार्यक्रम में ओवैसी जमकर विरोधियों पर बरसे. ओवैसी ने गुस्से वाले अंदाज में कहा, ‘मुझपर आरोप लगते हैं कि मैं भड़काऊ भाषण देता हूं. मैं वोट काटता हूं. मैं बता दूं कि मैं वोट नहीं काटता, मैं तुमको काट दूंगा.’ रैली में जोश से लबरेज नजर आए ओवैसी ने कहा कि यदि आप सोच रहे हैं कि मोदी, फडणवीस, कांग्रेस तुम्हारा भला करेंगी तो संभल जाओ क्योंकि ऐसा कुछ होने वाला नहीं है.
एससी, एसटी और मुसलमानों को लेकर ओवैसी ने कहा, एससी, एसटी और मुसलमानों को जबरन बिना दोष के जेल में बंद किया जा रहा है. ओवैसी ने कहा, भीमा कोरेगांव में महार ने मराठाओं को हराया था और अब तुम लोगों की बारी है और तुम्हें इन्हें हराना है. साथ ही ओवैसी ने कहा, ये लोग केवल सत्ता की मलाई खाने के लिए आए हैं. 280 सीटें जीतने के बाद भी भाजपा रोहित वेमुला की मौत को नहीं रोक पाई को तुम लोग उससे क्या उम्मीद करते हो.