बलिया में कोरोना से दो लोगों की मौत के बाद 10 जुलाई तक लॉकडाउन
योगी सरकार की लाख कोशिशों के बावजूद यूपी में कोरोना वायरस का कहर थमने का नाम नहीं ले रहा है. हर दिन कोरोना के नए केस बढ़ते ही जा रहे हैं. पिछले 24 घंटे में उत्तर प्रदेश में कोरोना के 817 नए मामले रिपोर्ट किए गए हैं. जो एक दिन में अबतक सामने आए मामलों में सबसे ज्यादा हैं.
यूपी में पिछले 24 घंटों में कोरोना के सबसे ज्यादा मामले दिल्ली के पड़ोसी जिले गाजियाबाद और नोएडा से ही आए हैं. जानकारी के मुताबिक गाजियाबाद में 24 घंटे के भीतर जहां 129 मामले सामने आए हैं तो वहीं नोएडा से कोरोना के 116 पॉजिटिव केस रिपोर्ट हुए हैं.
पिछले 24 घंटों के दौरान यूपी में कोरोना के 593 मरीज अस्पतालों से डिस्चार्ज भी किए गए हैं. जिसके साथ ही राज्य में कोरोना की जंग जीतकर अस्पताल से डिस्चार्ज हुए लोगों का आंकड़ा 17,221 हो गया है.
राज्य के स्वास्थ्य विभाग की ओर से गुरुवार को जारी किए गए आंकड़ों के मुताबिक पिछले 24 घंटों में यूपी में कोरोना की वजह से 17 लोगों की जान गई है. इसके साथ ही राज्य में कोरोना की वजह से हुई मौतों का आंकड़ा बढ़कर 735 हो गया है.
यूपी में फिलहाल कोरोना वायरस के 6869 एक्टिव केस हैं. जिसमें सबसे ऊपर गाजियाबाद है जहां 931 एक्टिव केस हैं. दूसरे नंबर पर नोएडा है जहां 929 एक्टिव केस हैं. इसके बाद लखनऊ है जहां कोरोना के 423 मरीजों का इलाज चल रहा है. इसके बाद कानपुर और मेरठ जिले हैं जहां कोरोना के 273 एक्टिव केस हैं.
देश-दुनिया के किस हिस्से में कितना है कोरोना का कहर?
बलिया में फिर से लगा लॉकडाउन
यूपी के बलिया जिले में पिछले कुछ दिनों में कोरोना वायरस के नए मामले काफी तेजी से सामने आ रहे थे. पिछले कुछ दिनों के भीतर यहां कोरोना के 40 पॉजिटिव केस रिपोर्ट हुए हैं. इसी वजह से बलिया में 3 जुलाई से 10 जुलाई तक पूर्ण रूप से लॉकडाउन लगा दिया गया है.
पश्चिमी यूपी में अब घर-घर जाकर कोरोना की जांच करेंगी मेडिकल टीमें
कोरोना महामारी पर तेजी से नियंत्रण पाने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार ने पश्चिमी उत्तर प्रदेश के छह जिलों में घर-घर जाकर जांच और सैंपलिंग का काम युद्ध स्तर पर शुरू कर दिया है. इसके तहत मेरठ, गौतमबुद्ध नगर, गाजियाबाद, हापुड़, बुलंदशहर और बागपत जनपद में पूरे जोर-शोर से अभियान शुरू कर दिया गया है. छोटे जिलों में 800 मेडिकल टीमें, जबकि बड़े जिलों में आवश्यकतानुसार 2,000 टीमों की तैनाती की जाएगी.
बता दें कि इससे पहले मुख्यमंत्री के निर्देश पर आगरा, कानपुर, प्रयागराज, वाराणसी, लखनऊ और गोरखपुर जिलों में घर-घर जाकर टेस्टिंग का अभियान शुरू किया जा चुका है. इसके बेहतर नतीजे दिखने पर अब इसे पश्चिमी उत्तर प्रदेश के जिलों में लागू किया जा रहा है. इस अभियान चरणबद्ध तरीके से को पूरे राज्य में लागू करने के लिए योजना तैयार कर ली गई है. कोरोना को लेकर मुंख्यमंत्री द्वारा शुरू से ही पूरी सतर्कता बरतने की नीति के चलते पूरे राज्य में 1 लाख से अधिक मेडिकल टीमें इस काम को अंजाम दे रही हैं.
इस अभियान का लक्ष्य शत-प्रतिशत सैंपलिंग करके कोरोना के संक्रमण को तेजी से समाप्त करना है. ये टीमें घर के सभी सदस्यों की मेडिकल हिस्ट्री की जांच करेंगी. इसमें देखा जाएगा कि कोई व्यक्ति पहले से किसी गंभीर बीमारी से पीड़ित तो नहीं है. कोविड-19 के लक्षण मिलने पर संबंधित व्यक्ति का टेस्ट किया जाएगा. टेस्ट पॉजिटिव आने पर उन्हें कोविड अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया जाएगा.