अयोध्या : एसएसपी ने पुलिस की कार्य प्रणाली को पारदर्शी व जवाहदेह बनाने के लिए शुरु की बड़ी पहल

तो अब फरियादियों की फरियाद का अफसर करेंगे दरियाफ्त,थाने में फरियादियों द्वारा प्रार्थना पत्र देने के बदले मिलेगी रिसीविंग पीली पर्ची
कैप्शन : पटरंगा थाने में आए फरियादी को प्रार्थना पत्र के बदले पीली पर्ची देते जांच अधिकारी।
अयोध्या : फरियादियों की अक्सर ये शिकायत रहती है कि थाने पर गया,लेकिन किसी ने उनका प्रार्थना पत्र नही लिया या उनकी सुनवाई नही की।पुलिस की कार्य प्रणाली को पारदर्शी व जवाहदेह बनाने के लिए वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक डा0 गौरव ग्रोवर ने एक नई पहल शुरू किया है।अब पुलिस कार्यालय के साथ साथ फरियाद लेकर थानों पर पहुंचने वाले पीड़ित फरियादियों को पीली पर्ची दी जाएगी।पर्ची पर आवेदन की तिथि फरियादी का नाम पता मोबाइल नंबर के अलावा जांच अधिकारी का नाम व मोबाइल नंबर भी दर्ज रहेगा।जिससे जांच अधिकारी व फरियादी को किसी भी प्रकार की जानकारी लेने में मदद मिलेगी और समय से समस्या का निराकरण भी होगा।इतना ही नही समस्या का गुणवत्तापूर्ण तरीके से निस्तारण के लिए अफसर भी समय समय पर दरयाफ्त करेंगे।पटरंगा थाने के प्रभारी निरीक्षक शशिकांत यादव ने बताया 12 मई से शुरु इस नई व्यवस्था के तहत अब हमारे यहां 20 फरियादियों को पीली पर्ची दी गई है।वही बाबा बाजार एसओ शैलेन्द्र आजाद ने बताया अब 8 फरियादी आए।मवई में अब तक 26 फरियादियों को पीली पर्ची दी गई।सभी को पीली पर्ची दी गई और कृत कार्यवाही रजिस्टर में अंकित कराई गई।सीओ रुदौली आशीष निगम ने बताया कि वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक द्वारा ये बहुत ही अच्छी पहल शुरु की गई है।सर्किल के सभी थानों में जनसुनवाई पटल को स्थापित करा दिया गया है।सभी प्रार्थना पत्र के बदले फरियादियों को रिसीविंग पर्ची दी जा रही है।
जनसुनवाई पटल पर 24 घंटे होगी सुनवाई
फरियादियों की समस्या का थाना स्तर पर समय से निस्तारण कराने व पुलिस की जवाबदेही तय करने के उद्देश्य से वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक डा0 गौरव ग्रोवर ने जनपद के सभी थानों में हेल्प डेस्क के साथ साथ जनसुनवाई पटल को भी स्थापित कराया है।इस पटल पर 24 घंटे सुनवाई होगी है।फरियाद सुनने के लिए इस पटल पर एक उपनिरीक्षक के साथ एक महिला कांस्टेबल दिन में व रात्रि में मौजूद रहेंगे।ये जनसुनवाई अधिकारी फरियादी से प्रार्थना पत्र लेकर उन्हें एक रिसीविंग पीली पर्ची देंगे।जिस पर जांच अधिकारी का नाम न0 अंकित रहेगा।फरियाद जांच अधिकारी को फोन कर अपनी समस्या से संबंधित कार्यवाही के विषय मे जान सकते है।
थाने से लेकर जिले तक अफसर करेंगे मॉनिटरिंग
थाने में स्थापित जनसुनवाई पटल पर शिकायत लेकर आने वाले पीड़ितों का प्रार्थना पत्र एक रजिस्टर में दर्ज करने के बाद उनको पीली पर्ची दी जाती है।फिर संबंधित थानों को शिकायती पत्र जांच अधिकारी को मिलता है।जांच अधिकारी समस्या से सम्बंधित कार्यवाही को रजिस्टर में अंकित करेगा।जिसकी मॉनिटरिंग थानाध्यक्ष सीओ से लेकर जिले के अधिकारी तक करेंगे।अफसर स्वयं पीड़ितों को फोन कर पुलिस कार्यवाही से उनकी संतुष्टि जानेंगे।लापरवाही उजागर होने पर जांच अधिकारी की जवाबदेही व उन पर कार्यवाही भी सुनिश्चित है।
तीन रंग की पर्ची में जांच अधिकारी को भी मिलेगी लाल पर्ची
थानों पर जनसुनवाई के लिए लागू किए गए पर्ची सिस्टम में तीन रंग की रसीद की छपाई गई है।पीले रंग की पर्ची फरियादी को दी जा रही है।लाल रंग की पर्ची प्रार्थना पत्र की जांच करने वाले एसआई या पुलिस कर्मी को दी जाएगी और सफेद रंग की तीसरी पर्ची आफिस फाइल में रखी जाएगी। जांच के लिए लाल पर्ची मिलने के बाद पुलिस अधिकारी समय सीमा के अंदर छानबीन कर रिपोर्ट देंगे। कार्यालय की आफिस फाइल की पर्ची से फरियादी का नंबर लेकर उसकी शिकायत पर पुलिस कार्रवाई से संबंध में फीड बैक लिया जाएगा। जांच के लिए लाल पर्ची मिलने के बाद जांच अधिकारी अगर मामले को लटकाएंगे तो उनसे विभागीय पूछताछ की जाएगी।
