मवई थाना क्षेत्र में चार गोवंश के कटे सिर मिलने से हड़कम्प..पढ़े पूरी खबर।
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सूचना मिलते ही आनन फानन में पहुंचे थानेदार ने मौके से कटे सिर को हटवाया।
मवई थाना रोड़ पर स्थित मांजनपुर गांव के समीप क्रास पुलिया के नीचे मिले गोवंश के कटे सर।
मवई(अयोध्या) ! मवई थाना अंतर्गत मवई थाना रोड पर स्थित शारदा सहायक नहर के निकट कई गोवंश के कटे सर मिलने से हड़कंप मच गया।राहगीरो ने देखा तो उनके होश उड़ गए।थोड़ी ही देर में ये खबर जंगल मे आग की तरह पूरे क्षेत्र में फैल गई।कटे हुए गोवंश के सिर की खबर सुनते ही मवई थानाध्यक्ष रिकेश सिंह दल बल के साथ मौके पर पहुंच कर सभी कटे हुए सिर के अवशेषों को इकठ्ठा कर अपनी गाड़ी में रखकर मौके से हटवा दिया।
सोमवार की सुबह राष्ट्रीय राजमार्ग से लिंक मवई थाना रोड पर स्थित मांजनपुर गांव के निकट पुलिया के नीचे अवैध गो तश्करों के द्वारा गोवंश के कटे हुए लगभग चार से पांच सिर राहगीरो के द्वारा देखा गया।खबर सुनते ही क्षेत्र के सैकड़ों की संख्या में लोग पहुँच गये।लोगों ने कटे हुए सिरो का वीडियो बनाना शुरू कर दिया कुछ देर में वीडियो शोशल मीडिया पर वायरल होने लगा।लेकिन तब तक पुलिस को मामले की भनक नही लग सकी।जब इस खबर की सूचना हिन्दू वाहिनी के क्षेत्रीय कार्यकर्त्ताओं को हुई।हिन्दू युवा वाहिनी के कार्यकर्ताओं ने क्षेत्राधिकारी रुदौली को दूरभाष पर सूचना देते हुए मामले से अवगत कराया।प्रकरण को गंभीरता से लेते हुए क्षेत्राधिकारी रुदौली अमरसिंह ने तत्काल मवई थानाध्यक्ष को मौके पर भेजा।थानाध्यक्ष मवई मौके पर पहुँचकर गायों के कटे सिर को कब्जे में लेकर छानबीन शुरू कर दी है।सूत्रों की माने तो पुलिस ने गोवंश के कटे हुए अवशेषों का कुछ अंश लेकर शेष नहर में फेकवा दिया।जिस पर लोगों ने आक्रोश भी व्यक्त किया है।लोगों ने ये भी बताया कि घटना के पुलिस मुकदमा दर्ज करने के घंटो तहरीर का इंतजार करती रही।बाद में हिन्दू वाहिनी के कार्यकर्त्ताओं से तहरीर लेकर मुकदमा दर्ज किया।इस सम्बन्ध में जब मवई थानाध्यक्ष रिकेश सिंह से बात हुई तो उन्होने बताया की अज्ञात लोगों के विरुद्ध गोवध अधिनियम की धारा 3/5 में मुकदमा दर्ज कर लिया गया है।थानाध्यक्ष ने गोवंश के अवशेष को मिट्टी में दबाने की बताई है।
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गोवध का हब बनता जा रहा मवई क्षेत्र
मवई ! रूदौली सर्किल क्षेत्र में स्थित मवई थाना क्षेत्र पुलिस की संवेदनहीनता के चलते गोवध का हब बनता जा रहा है।मित्र पुलिस द्वारा छापेमारी व विधिक कार्यवाही में बरती जा सुस्ती की वजह से ये अबैध कारोबार पर धीरे धीरे एक बार फिर कुटीर उद्योग का रूप ले रही है।अभी दो माह पूर्व इसी थाना क्षेत्र के नेवरा मवई व नरौली में भारी मात्रा में गोमांस बरामद हुआ था।सूत्र की माने तो मवई थाने के चर्चित गोतस्कर व गुंडे जिलाबदर आदि अपराधी आये दिन पुलिस के साथ खुलेआम होटलों थानों व बीच रास्ते मे चाय पीते नजर आते है।ऐसे में अबैध कारोबार पर अंकुश लगाने का दावा ठोकने वाली मवई पुलिस पर सवालिया निशान लगना लाजमी है।
ठिकाना बदलकर खाकी के संरक्षण में होता है ये अवैध कारोबार।
मवई ! मवई थाना क्षेत्र गोवध का अवैध कारोबार खूब फल फूल रहा।सूत्रों की माने ये अवैध कारोबार पुलिस के संरक्षण में होता है।बस गोवधिक हर घटना को अंजाम देने से पहले ठिकाना बदल देते है।मांजनपुर के पास मिले चार चार गोवंश के कटे सर बदले ठिकाने की सुबूत है।इससे पहले कुछ चर्चित गोवधिक अपने घर जंगल व नहर तालाब आदि के किनारे करते है।
सस्ता मांस बनी खपत की वजह
मवई ! रुदौली क्षेत्र में गोमांस की खपत की सबसे बड़ी वजह मांस का सस्ता होना बताया जाता है।जानकारी के मुताविक अन्य जीव जन्तुओं के मांसों की अपेक्षा गोमांस सस्ता मिल जाता है।जानकारी के मुताविक इस समय बाजारों में प्रतिकिलो के हिसाब से मछली 100 से 300 रूपये मुर्गा 160 से 170 रूपये बकडा 300 से 400 रूपये किलो भैंसा 60 से 120 रूपये प्रति किलो के हिसाब से मिलता है।जबकि गोमांस मात्र 50 से 80 रूपये में ही मिल जाता है।इसलिये इसकी खपत ज्यादा होती है।
इन गांवो से होता है ये अबैध कारोबार
मवई ! सीओ सर्किल रुदौली अन्तर्गत गोमांस के लिये कुछ गांव चर्चित है।जहां पर गोपशुओं का निर्दयता पूर्वक वध कर उनके मांस को क्षेत्र में सप्लाई की जाती है।पटरंगा थाना क्षेत्र में पचलो सीवन बाजिदपुर कोपेपुर डिलवल मवई थाना क्षेत्र में मवई नेवरा तकिया चंद्रामऊ नरौली व रुदौली कोतवाली अन्तर्गत भेलसर आदि गांव चर्चित है।गोवधिक गो पशुओं को रात्रि के तीसरे पहर में वध करते है और भोर होते होते पूरे क्षेत्र में बाइकों से मांस की सप्लाई करते है।
राजमार्ग से इतर लिंक मार्गो से होती है गोमांस की तस्करी
मवई ! मित्र पुलिस के लाख प्रयास के बावजूद रुदौली सर्किल क्षेत्र में गोमांस की तस्करी पर लगाम नहीं लग पा रही है।गोवधिक मांस की सप्लाई के लिये राजमार्ग से इतर लिंक मार्गो को अपनाते है।वो भी प्रातः काल के समय जब मित्र पुलिस भी गहरी निद्रा में रहती है।और जो लोग गस्त पर भी रहते है वो राष्ट्रीय राजमार्ग पर तैनात रहते है।जिससे गोवधिकों के लिये मांस तस्करी के लिये ये लिंक मार्ग ही मुफीद साबित होते है।
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