पंचकोसी परिक्रमा में साधु-संतों और श्रद्धालुओं की उमड़ी अपार भीड़ से राममय हुई अयोध्या , सेवा और भक्ति का दिखा अद्भुत संगम

अयोध्या ! भगवान श्रीराम की नगरी अयोध्या इन दिनों भक्ति और आस्था के चरम पर है।पंचकोसी परिक्रमा में इस बार भी साधु-संतों से लेकर गृहस्थ भक्तों तक सभी ने कीर्तन-भजन करते हुए परिक्रमा कर सनातन संस्कृति की अनूठी झांकी प्रस्तुत की।
“जय श्रीराम” के उद्घोष से गूंजती पावन धरती पर श्रद्धालुओं की टोलियां भक्ति में लीन होकर पंचकोसी परिक्रमा पथ पर आगे बढ़ रही हैं। हर ओर राम नाम का जप, घंटों की ध्वनि और भक्तिरस में सराबोर वातावरण ने पूरी अयोध्या को राममय बना दिया है।सेवा भाव का भी अद्भुत नजारा देखने को मिल रहा है।

परिक्रमा मार्ग पर जगह-जगह सेवा पंडाल लगाकर श्रद्धालुओं के लिए चाय, जलपान, प्रसाद और दवा की व्यवस्था की गई है। अनेक संस्थाएं, सामाजिक संगठन और सेवादार तन-मन से भक्ति सेवा में जुटे हुए हैं।

संतों ने कहा कि अयोध्या की पंचकोसी परिक्रमा केवल एक धार्मिक अनुष्ठान नहीं, बल्कि आस्था, सेवा और समर्पण का जीवंत उदाहरण है।

भक्तों का कहना है कि इस पावन यात्रा से मन को शांति और आत्मा को अध्यात्म का साक्षात अनुभव होता है।पूरी रामनगरी इस समय रामनाम की ध्वनि से आलोकित है।हर गली, हर मार्ग और हर मन में सिर्फ एक ही भाव है कि राम काज कीन्हे बिनु, मोहि कहाँ विश्राम।


