किसानों और ब्राह्मणों के उत्पीड़न को लेकर बसपा नेता करुणाकर ने योगी सरकार को घेरा

अयोध्या। तहसील सदर के कुढ़ा केशवपुर गांव में 5 लोगों के निर्माणाधीन मकान को प्रशासन द्वारा बिना किसी नोटिस व आधिकारिक सूचना के ढहाए जाने का मामला तूल पकडऩे लगा है। शुक्रवार को जिला पंचायत संचालन समिति के पूर्व सदस्य एवं वरिष्ठ बसपा नेता करुणाकर पांडेय ने पीड़ितों के साथ प्रेसवार्ता करके प्रशासन के कृत्य की घोर निंदा किया एवं मामले को उच्च न्यायालय तक ले जाने की घोषणा की। प्रेसवार्ता के दौरान ही उन्होंने पूर्व कैबिनेट मंत्री नकुल दुबे से पीडि़तों की वार्ता कराई और कहा कि ब्राह्मणों के सम्मान की लड़ाई निर्णय होने तक आर-पार लड़ी जाएगी।
सिविल लाइन स्थित एक होटल के सभागार में आयोजित पत्रकार वार्ता में वरिष्ठ बसपा नेता करुणाकर पांडेय ने कहा कि यदि प्रशासन ने नौ तारीख को निर्माण करने से मना किया था और उस समय पिलर का कार्य चल रहा था तो तीन दिन में ही लिंटर पड़ गया। यदि मकान का निर्माण अवैध था तो उसे हटाने के लिए संवैधानिक तरीके से कार्रवाई होना चाहिए था। सवाल किया कि क्या यह पहला निर्माण है, अन्य पूंजीपतियों व भू माफियाओं द्वारा किए गए अवैध निर्माण को ध्वस्त कर दिया गया है। कहा कि इन लोगों को ब्राह्मण होने की सजा मिल रही है। यह मकान को नहीं बल्कि ब्राह्मणों के सम्मान को ध्वस्त किया गया है। ब्राह्मण समाज के सम्मान व स्वाभिमान को खत्म करने का प्रयास किया जा रहा है। यदि प्रशासन की ऐसी ही बर्बरता होती रही तो कैसे लोकतंत्र सुरक्षित रहेगा। ताकत के साथ सूझबूझ भी होना चाहिए।
कहा कि पूरा मामला पूर्व कैबिनेट मंत्री नकुल दुबे व बसपा राष्ट्रीय महासचिव सतीशचंद्र मिश्रा के संज्ञान में है, दोनों लोगों ने न्यायिक लड़ाई नि:शुल्क लडऩे का आश्वासन दिया है। कहा कि मेरी पहचान कुढ़ा केशोपुर ग्राम सभा से है। इनके मान-सम्मान में आखिरी सांस तक कोई कमी नहीं होने दी जाएगी। इनके सम्मान और स्वाभिमान की लड़ाई आर-पार लड़ी जाएगी। जरूरत पडऩे पर धरना-प्रदर्शन व आंदोलन का रास्ता भी पार्टी के निर्देशों के अनुसार व संविधान के दायरे में रहकर किया जाएगा। इस दौरान ग्रामीण सत्यप्रकाश तिवारी, श्रवण कुमार तिवारी, शिवमूरत शुक्ला, अनिरुद्ध शुक्ला आदि मौजूद रहे।
